Tohra Galiya Ke Dimpal – Pawan Singh, Alka Singh Pahadiya

Song Lyrics

साज-धज के मेकप का के
शुघर लागे लू
साज-धज के मेकप का के
शुघर लागे लू

लायकिन में सभमई से
सूपर लागे लू

टॉहरी मारी एक तिरच्चि नज़रिया हो
हंसल करा

हरदम आस ही करेकजा के भीतारिया हो
बेसल करा

उड़े जैसे तितली उड़े लू, निक्क लागे
छान अंगड़ाई जड़ो ले लू, भाग जागे

दिल के भीतर धड़कन में
तू ही वारा
साँस में सामाइल टन-मान में
तू ही वारा

सूरज के लाली ऐसे कांवा के वाली जैसे
लचके कमर तोहार फूलवा के डाली जैसे

ल़ाहे-ल़ाहे चढ़े दिल में लहरिया हो
दसल करा
हरडौम आस ही करेजा के भीतारिया हो
बेसल करा

गोरी तोहरा गलिया के डिंपल
जान मारे
तोहरा आयेज लागे बड़ी सिंपल
चाँद तारे

कर ला तारीफ़ मोरे राजा मॅन बहके
च्छुए ला ता पूरा दहिया में आग लेहके

तोहार जवाब नाखहे तू लाजवाब वादू
हमरा जासन दीवाना
दिलबर के खाव्ब वादू

बलखा के लचका के कमरिया हो
चलाल करा
हरडौम आस ही करेजा के भीतारिया हो
बेसल करा